बिस्व महतारी दिवस के जम्मो झन ल बधाई
Happy mother's day
महतारी के छइयां म, मोला मया अउ दुलार मिले,
मोर दाई तहि मोर, जिनगी के आधार बने।
बाँह म झूलना झुलाए, छाती ले अपन लगाये,
सब्बो दुख पीरा ले तै मोला, अपन अंचरा म लुकाये।
अंगरी ल धरा के बने, रददा रेंगे ल सिखाये,
ये दुनिया म ल के मोला, जिनगी जिये ल बताये।
मोर महतारी तोर अंचरा म मोला, अतका दुलार मिले,
जिनगी भर तोर मया, अउ दुलार मिले।
युवा कवि साहित्यकार
अनिल कुमार पाली, तारबाहर बिलासपुर
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